हिज़्बुल्लाह के खिलाफ इजराइल का फैसला: अरब लीग और यूरोपीय संघ की बातचीत का प्रभाव ?
इजराइल के कब्जे वाली गोलान हाइट्स पर हुए हमले ने 12 बच्चों और एक किशोर की जान ले ली. इस हमले का आरोप यूनाइटेड स्टेट और इजराइल ने हिजबुल्लाह पर लगाया है. हालांकि, हिजबुल्लाह ने इस हमले में अपना हाथ होने से इनकार किया है. इस हमले के बाद से ही हिजबुल्लाह और इजराइल के बीच ऑल आउट वार छिड़ने के संभावनाएं बढ़ गई हैं. जिसको लेकर अरब लीग, यूरोपीय यूनियन और दूसरे देशों के नेताओं ने चिंता जाहिर की है. यूरोपीय यूनियन के चीफ ने इस मसले को सुलझाने के लिए अरब लीग और लेबनान अधिकारियों से चर्चा की है. इजराइल ने हमले के जवाब में हिजबुल्लाह के कई ठिकानों को निशाना बनाया. इजराइल की वॉर कैबिनेट ने रविवार को प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू की सरकार को हमले का जवाब देने के लिए तरीके और समय पर फैसला लेने की इजाजत दे दी है. अब नेतन्याहू सरकार तय करेगी कि हमले का जवाब कब और कैसे दिया जाएगा. नेतन्याहू पहले कह चुके हैं कि वे इस हमले का हिजबुल्लाह को कड़ा जवाब देंगे. वॉर कैबिनेट से अप्रूवल मिलने के बाद हिजबुल्लाह पर सख्त कार्रवाई के सभी रास्ते खुल गए हैं.
लेबनान सीमा पर बिगड़ते हालात को देखते हुए यूरोपीय यूनियन के चीफ ने अरब लीग और लेबनान अधिकारियों से मौजूदा हालात पर चर्चा की है. EU के विदेश नीति प्रमुख जोसेप बोरेल ने बताया कि उन्होंने लेबनान के विदेश मंत्री अब्दुल्ला हबीब और अरब लीग के महासचिव अहमद अबुल घीत से गोलान हाइट्स के मजदल शम्स शहर पर रॉकेट हमले के बारे में बात की है, जिसमें शनिवार को 12 बच्चे और किशोर मारे गए थे. बोरेल ने कहा कि चर्चा का केंद्र मजदल शम्स हमले की वजह, क्षेत्रीय युद्ध से बचने के तरीकों और गाजा में सीजफायर समझौता रहा. बोरेल ने सोशल मीडिया पर ये भी लिखा, “पहले ही बहुत सारे बच्चे मारे जा चुके हैं.” दुनिया के नेता जंग को रोकने और हिजबुल्लाह इजराइल तनाव को सुलझाने की कोशिशों में लगे हैं. वार प्लान पास होने के बाद देखना होगा कि क्या उनकी कोशिशें कामयाब होती हैं या एक और छोर पर युद्ध की शुरुआत हो जाएगी.
इजराइल इस हमले का जिम्मेदार हिजबुल्लाह को मान रहा है और उससे बदला लेने की तैयारी में जुट गया है. गोलान हाइट्स के ड्रूज शहर पर हुए इस हमले ने फुल फ्लेश वार का डर बढ़ा दिया है. इजराइल की धमकियों के बाद हिजबुल्लाह ने भी कहा है कि अगर फुल फ्लेश वार होता है, तो इसके परिणाम अच्छे नहीं होंगे. हिजबुल्लाह ने हमले को अंजाम देने से इनकार किया है, लेकिन उसने इजराइली सेना के ठिकानों पर अपने रोजाना होने वाले रॉकेट हमलों को भी जारी रखा है.